कलियों की आबरू
कलियों की आबरू ||1|| जो दुख के आँसुओं में नहाया नहीं करते वो प्यार को सीने से लगाया नहीं करते फूलों का हार जिनको पहनने का …
कलियों की आबरू ||1|| जो दुख के आँसुओं में नहाया नहीं करते वो प्यार को सीने से लगाया नहीं करते फूलों का हार जिनको पहनने का …
चंदा रोटी सा लगे ||1|| चंचल मन की गति रुके , कर न सके आखेट चंदा रोटी सा लगे , जब भूखा हो पेट || ||2|| पंखे में…
साहित्यिक क्लोन का सारस्वत सम्मान क वि कर्म कठोर महातप है। गुण, धर्म, प्रयोजन, रीति को जाने बिना प्रतिभा एवं अभ्यास क…